उत्तराखंड की बेटी प्रीति पोखरिया ने फतेह की माउंट गोलेप कांगरी चोटी


खटीमा
फोटो प्रतीकात्मक
खटीमा की बेटी प्रीति पोखरिया ने कश्मीर के *माउंट गोलेप कांगरी* चोटी को फतह करके उत्तराखण्ड का नाम रोशन किया है। कश्मीर की 19500 फिट की ऊँचाई वाले इस शिखर को अपने दल में शामिल सभी लड़कियों में सबसे पहले प्रीति ने हासिल किया है। प्रीति की तमन्ना भविष्य के सातों सबसे ऊँचे शिखरों में फतह प्राप्त करने की है। प्रीति खटीमा के खेतलसंडा वार्ड नम्बर 12 निवासी एक्स आर्मी मैन कै0 लक्ष्मण सिंह पोखरिया की बेटी है।
प्रीति की बचपन से ही साहसिक कार्यो के प्रति रुचि थी। शैक्षिक रुझान की बात करे तो प्रीति पोखरिया एमएससी माइक्रोबायोलॉजी कर वर्तमान में दिल्ली में नौकरी करती है। प्रीति बचपन से ही पिता की आर्मी सर्विस के दौरान उनके साथ रही। प्रीति बड़े भाई दीपक पोखरिया जो वर्तमान में (राफ्टिंग ट्रेनर कु.म.वि. निगम) में कार्यरत हैं से साहसिक खेलो की तरफ आकर्षित हुई।
प्रीति ने अपनी नौकरी से जमा पूंजी से घर मे बिना बताएँ कश्मीर जाकर माउंटट्रेरिग के तीन कोर्स किये। मात्र 3 हफ़्ते पहले ही जिस कश्मीर से धारा 370 हटने पर आतंकवादी घटनाएँ हो रही हो वहां पर प्रीति व उसके साथी 28 अगस्त को जब श्रीनगर एयर पोर्ट से उतरकर बाहर निकले तो स्थानीय युवकों द्वारा उन साथ बदसलूकी की वारदात भी की गई। लेकिन दूर खड़े सैनिकों ने उन्हें वहां से सुरक्षित निकालकर उनके ट्रेनिग स्थल सोनमार्ग के लिये बस में बिठाया। वही सोनमार्ग व द्रास सेक्टर से पहले गुमरी में 24 दिन की ट्रेनिग करने के पश्चात। उनके 42 सदस्यीय दल में जिसमे 9 लड़कियाँ थी, उन्हें दो चोटी चढ़ने के विकल्प दिये गए। एक विकल्प था माउ0 स्टॉक कांगरी व दूसरा था माउ0 गोलेप कांगरी।
माउ0 गोलेप कांगरी (19500फिट) की ऊँचाई पर स्थित नया व कठिन टास्क था। लेकिन उत्तराखण्ड की इस बहादुर बेटी प्रीति ने कठिन टास्क को ही चुन अपनी टीम के साथ इस चोटी को फतह करने निकल पड़ी। अपने दल की 9 लड़कियों में चोटी फतह करने वाली 3 लड़कियों में प्रीति सबसे पहले इस चोटी को फतह करने वाली लड़की थी। प्रीति का कहना है कि लक्ष्य के प्रति आपका समर्पण सच्चा हो तो कठिन से कठिन परिस्थितियां भी आपके लिए अनुकूल बनती चली जाती है।
प्रीति की भविष्य की योजनाओं में विश्व की सातों उच्च चोटियों को फतह करना है। वही प्रीति बेटी-पढ़ाओ बेटी -बढ़ाओ का संदेश देते हुए बेटियों को भी आगे बढ़ाने की बात करती है। क्योंकि उनके अनुसार बेटियां भी अपने माता पिता व देश का नाम रोशन कर सकती है।फिलहाल प्रीति की इस सफलता से जंहा खटीमा क्षेत्र के लोग अपने आप को गौरवान्वित महसूस कर रहे है।



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