देहरादून/नई टिहरी
प्रदेश के शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय ने सरकारी स्कूलों की तरह प्राइवेट स्कूलों में भी संस्कृत को अनिवार्य करने की घोषणा की।उन्होंने शिक्षा सचिव को इस आशय का शासनादेश जारी करने को कहा। पांडेय ने कहा कि यह सीबीएससी और आईसीएसई स्कूलों के लिए भी मान्य होगा। उन्होंने प्रधानमंत्री जी के जन्मदिन से इसे अनिवार्य रूप से लागू करने का ऐलान किया। मंत्री जी ने कहा कि इस तरह से इस विषय के बेरोजगार युवकों को भी रोजगार मिलेगा। पूर्व शिक्षा निदेशक पुष्पा मानस को नहीं लगता कि इस प्रकार के शासनादेश से कोई फर्क पड़ने वाला है। उनका कहना है कि संस्कृत के प्रति सरकार की सोच अच्छी है लेकिन हर निजी स्कूल ने किसी न किसी बोर्ड़ से मान्यता ली है और भाषा सीखने को लेकर बोर्ड की ओर से स्कूलों को गाईड लाइन जारी होती है। शासनादेश के बजाय यदि एनसीआरटी की ओर से ऐसे आदेश होते तो ज्यादा अच्छा होता।